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शुक्रवार, 28 नवंबर 2008

उफ़्‌... ये क्या हो रहा है?


ॐ शान्तिः।

कोई शब्द नहीं हैं...।
बस...।
अब बहुत हो चुका...।

8 टिप्‍पणियां:

  1. " आज शायद सभी भारतीय नागरिक की ऑंखें नम होंगी और इसी असमंजस की स्थति भी, हर कोई आज अपने को लाचार बेबस महसूस कर रहा है और रो रहा है अपनी इस बदहाली पर ..."ईश्वर मारे गए लोगों की आत्मा को शान्ति प्रदान करें . उनके परिजनों को दु:ख सहने की ताकत दें .

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  2. अपनी एक जुटता का परिचय दे रहा हैं हिन्दी ब्लॉग समाज । आप भी इस चित्र को डाले और अपने आक्रोश को व्यक्त करे । ये चित्र हमारे शोक का नहीं हमारे आक्रोश का प्रतीक हैं । आप भी साथ दे । जितने ब्लॉग पर हो सके इस चित्र को लगाए । ये चित्र हमारी कमजोरी का नहीं , हमारे विलाप का नहीं हमारे क्रोध और आक्रोश का प्रतीक हैं । आईये अपने तिरंगे को भी याद करे और याद रखे की देश हमारा हैं ।

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  3. सही कह रहे हैं - बहुत हो चुका।
    पर आसपास देखता हूं तो फ्रेगमेण्टेड समाज। आशा नहीं बन्धती।

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  4. " शोक व्यक्त करने के रस्म अदायगी करने को जी नहीं चाहता. गुस्सा व्यक्त करने का अधिकार खोया सा लगता है जबआप अपने सपोर्ट सिस्टम को अक्षम पाते हैं. शायद इसीलिये घुटन !!!! नामक चीज बनाई गई होगी जिसमें कितनेही बुजुर्ग अपना जीवन सामान्यतः गुजारते हैं........बच्चों के सपोर्ट सिस्टम को अक्षम पा कर. फिर हम उस दौर सेअब गुजरें तो क्या फरक पड़ता है..शायद भविष्य के लिए रियाज ही कहलायेगा।"

    समीर जी की इस टिपण्णी में मेरा सुर भी शामिल!!!!!!!
    प्राइमरी का मास्टर

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  5. शोक व्यक्त कर क्या होगा?
    जो कुछ नहीं कर सकते, उनपर सब कुछ करने की जिम्मेदारी है, और जो कुछ करना चाहते हैं, उनके हाथ खाली. सभी यहाँ यूज्ड-टू हो चुके हैं. हमारे सब्र का इम्तहान लेने वाले ख़ुद फेल हो चुके, सौहार्द और महानता की जड़ें इतनी गहरी हैं, कोई उखाड़ कर तो देखे.

    ज्यादा नहीं कहूँगा. अगले धमाकों के लिए भी थोड़ा बचा कर रखना है.

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  6. अगले धमाको को हम सब मिल कर रोक सकते है, हमे जागरुक होना चाहिये, अपने आस पास कोई भी अन्जान हमे दिखे कुछ गलत करता तो उसे पकडो ओर पुछो, आप के पडोस मै कोई नया ओर संगिध सा दिखने वाला कोई भी हो उस की रिपोर्ट पुलिस को दो, आप सब इलाके के लोग भी उस से पुछ ताछ कर सकते है,
    कोई कुछ समान फ़ेक कर , या छोड कर जाये तो समान नही उस आदमी को पकडो सब मिल कर, अगर कोई भी आतंकवादियो से सहानुभुति दिखाये उसे पकड कर ....
    ओर सब अपने अपने वोट का हक जरुर पुरा करो यानि वोट जरुर डालो.... ताकि यह कमीने नेता सिर्फ़ वोट वेक के लिये देश की भावनायो से ना खेले, इन्हे भी पता चले की वोट किसी विशेष तबके से नही मिलते , आओ ओर देश के लिये जागरुक होये, जात पात, ओर धर्म से ऊपर उठे, ओर अपने देश को बचाये,

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  7. ईश्वर मारे गए लोगों की आत्मा को शान्ति प्रदान करें ...

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  8. Vote and don't forget. Vote with conscience for the right person without blamish of 93 blast, Jaipur, Kandahar, PArliament Bangalore, Hyderabad.

    so which is the choice.....

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